NIFTY50 17000 के नीचे आया , किन कारणों से मार्केट को नहीं मिल रहा सपोर्ट आइये देख ते है
NIFTY50 17000 के नीचे आया , किन कारणों से मार्केट को नहीं मिल रहा सपोर्ट आइये देख ते है
शेयर मार्केट में आज काफी Volatile रहा । इक्विटी बेंचमार्क इंडेक्स निफ्टी 50 (Nifty 50) और बीएसई सेंसेक्स (BSE Sensex) इंट्रा-डे में करीब डेढ़ फीसदी तक गिरावट देखा गया दोपहर के बाद हालांकि कारोबार में कुछ रिकवरी दिखी लेकिन फिर भी ज्यादा संभल नहीं पाए और आधे फीसदी से गिरावट के साथ मार्केट बंद हुए
शेयर मार्केट में आज काफी वोलेटाइल रहा | इक्विटी बेंचमार्क इंडेक्स निफ्टी 50 (Nifty 50) और बीएसई सेंसेक्स (BSE Sensex) इंट्रा-डे में करीब डेढ़ फीसदी तक गिरावट देखा गया । दोपहर के बाद हालांकि कारोबार में कुछ रिकवरी दिखी लेकिन फिर भी ज्यादा संभल नहीं पाए और आधे फीसदी से गिरावट के साथ मार्केट बंद हुए हैं। मार्केट में गिरावट की कई वजहें रही जिसके बारे में नीचे बताया जा रहा है लेकिन पहले ये समझ लें कि यह गिरावट सिर्फ यहीं नहीं बल्कि ग्लोबल मार्केट में दबाव दिख रहा है।
NIFTY डेढ़ फीसदी टूटकर 16,828.40 तक गिर गया था परन्तु जो दिन के आखिरी में 0.65 के गिरावट के साथ 16,988.50 पर बंद हुआ। वहीं सेंसेक्स भी 57,084.90तक गिर गया था लेकिन दिन के आखिरी में 0.62 फीसदी की गिरावट के साथ 57,628.90 पर बंद हुआ है। एशियाई बाजारों में जापान का निक्केई 1.4 फीसदी, हॉन्ग कॉन्ग का हैंग सेंग 3.2 फीसदी; यूरोपीय बाजारों में फ्रांस का सीएसी और जर्मनी का डीएएक्स 1.3 फीसदी से अधिक, ब्रिटेन का एफटीएसई 1 फीसदी फिसला है। अमेरिका में शुक्रवार को एसएंडपी 1.1 फीसदी और नास्डाक 0.8 फीसदी टूट गए। यहां मार्केट में गिरावट के कारण दिए जा रहे है।
बैंकिंगसेकटर में शेयरों में बिकवाली
यूबीएस ग्रुप ने अपने प्रतिद्वंद्वी क्रेडिट स्विस का अधिग्रहण कर लिया है और पूरी दुनिया के केंद्रीय बैंकों ने डॉलर के नए लिक्विडिटी मानकों पर लागू कर दिया है, इन कारणों से बैंकिंग शेयरों में गिरावट है। बड़े निवेशकों का मानना है कि मौजूदा परिस्थितियों को देख कर इसमें अभी और गिरावट हो सकती है।
इस हफ्ते होने वाली है अमेरिका फेड की बैठक
अमेरिका में सिलिकॉन वैली बैंक और सिग्नेचर बैंक क्रप्ट के बाद माना जा रहा था कि अमेरिका फेड ब्याज दरों में बढ़ोतरी पर लगाम लगाए गा । अब अनुमान है कि यह 0.250 फीसदी की बढ़ोतरी कर सकता है इक्विटीज मार्केट पर निगेटिव असर पड़ सकता है।
कच्चे तेल में गिरावट के कारण मार्केट पर पड़ा असर
पिछले दस कारोबार सत्रों में कच्चे तेल के भाव 18 फीसदी से अधिक टूट चुके हैं। वैश्विक स्तर पर बैंकिंग क्राइसिस की आशंका के चलते कमोडिटीज जैसे रिस्की एसेट्स में लोगो की घटती दिलचस्पी के चलते इसके भाव टूट रहे हैं। एक रिपोर्ट के मुताबिक उद्योगों में इसके इस्तेमाल में कटौती, चीन में कंजम्प्शन ग्रोथ पर कंट्रोल ने इसे और कमजोर किया है। सोमवार को अमेरिकी बेंचमार्क क्रूड फ्यूचर्स 2.8 फीसदी गिरकर 64.90 डालर प्रति बैरल पर आ गया, जो 2021 दिसंबर के बाद का सबसे निचला स्तर(leval ) है।
NIFTY50 17000 के नीचे आया , किन कारणों से मार्केट को नहीं मिल रहा सपोर्ट आइये देख ते है
मौसम का असर के कारण मार्केट पर पड़ा असर
बदल ते मौसम के चलते देश के इकनॉमिक ग्रोथ पर बड़े झटके का अनुमान लगाया जा रहा है।अपने देश के पीएम मोदी की प्रमुख सलाहकार और नेशनल काउंसिल ऑफ एप्लाइड इकनॉमिक रिसर्च की प्रमुख पूनम गुप्ता का मानना है कि भारतीय इकनॉमी मौसम से जुड़ी किसी भी चुनौती से निपटने में सक्षम है। इस भरोसे के बावजूद दिसंबर 2022 में देश की इकनॉमिक ग्रोथ सुस्त होकर 4.4 फीसदी पर आ गई। अगर ऐसे खराब मौसम के चलते फसलों पर आने वाले हफ्तों में असर दिखता है तो यह महंगाई नियंत्रण करने की आरबीआई की कोशिशों को बुरी तरह प्रभावित कर सकता है।